Anupama 27th July 2024 Episode Written Update: अनुपमा ने किया अनुज के सामने डांस

Anupama 27th July 2024 Episode Written Update In Hindi
Anupama 27th July 2024 Episode Written Update: अनुपमा ने किया अनुज के सामने डांस

Anupama 27th July 2024 Episode Written Update: अनुपमा के आज के एपिसोड की शुरुआत में इंद्रा कहती है कि आचार के ऑर्डर मिलने से घर में कुछ पैसे आएंगे। अनुपमा कहती है एक-एक सिक्का करके पूरा गुल्लक भरेगा। इंद्रा कहती है तुम हर चीज में पॉजिटिविटी कैसे ढूंढती हो, अनुपमा का मानना है की जैसी दृष्टि वैसी सृष्टि और पॉजिटिव सोचने पर हर मुसीबत के आगे एक रास्ता दिखाई देता है और नेगेटिव सोचने पर हर रास्ते के आगे एक मुसीबत दिखाई देती है, इसलिए पॉजिटिव सोचना चाहिए। आगे इंद्रा अनुपमा से पूछती है अनुज से कुछ बात हुई, अनुपमा कहती है हुई भी ओर नही भी हुई एक पल के लिए ऐसा लगा कि सारे फासले खत्म हो गए लेकिन दूसरे पल ऐसा लगा जैसे बरसो की दूरी हमारे बीच आ गई लेकिन कोई बात नही एक दिन में सब सही थोड़ा होगा, धीरे-धीरे सब ठीक हो जाएगा, वह कहती है की में और अनुज एक दूसरे से बहुत प्यार करते हैं, हमारे बीच दूरियां आई मनमुटाव हुए पर एक चीज जो हमेशा रही वह अनुज की आंखों में मेरे लिए प्यार, इसलिए अब भी जब वह मुझसे दूर भागते हैं तो बर्दाश्त नहीं होता पर इतना जानती हूं कि उनके ऐसा करने के पीछे कोई कारण है और उनके दर्द के पीछे जो वजा है वह आज पता चली, मुझे पता है कि मेरी आध्या बिल्कुल ठीक है, धीरे-धीरे सब ठीक हो जाएगा।
इंद्रा का मानना है कि हमेशा सब्र का फल मीठा नही होता कभी कभी थोड़ी सी देरी भी बड़ी देरी बन जाती है, वह अनुपमा से कहती है की वह अनुज के मानने का इंतजार न करें, क्या पता अनुज मान जाए और अपनी गुस्से की वजह बता दे। अनुपमा कहती है आपको लगता है ऐसा होगा? नंदिता कहती है की अनुज जी का गुस्सा उनसे प्यार से बड़ा नही हो सकता, आप एक बार कोशिश तो करके देखिए। इंद्रा कहती है अनुज की याददाश्त नही गई है, सिर्फ जज्बात सो गए हैं। नंदिता कहती है आप उनके जज्बात को जगाओ और उनके अंदर फिर से वही प्यार वही इमोशंस वही दर्द पैदा करो। आगे टीटू डिंपी से पूछता है की क्या पाप ने अनुज सर को भड़काया? डिंपी कहती है तुम्हें किसने बताया किंजल भाभी ने? टीटू कहता है हां जो बात मुझे तुमसे पता चलनी चाहिए वह किंजल भाभी बता रही है। डिंपी कहती है तो क्या हुआ में बिजी थी, टीटू कहता है कहां बीजी थी शॉपिंग में, किंजल कहती है तुम्हें शॉपिंग पसंद नहीं है तो इसका मतलब यह नहीं की सब शॉपिंग छोड़ दे। टीटू कहता है कि पापा तुम्हें शॉपिंग के लिए पैसे देते हैं तो इसका मतलब यह नहीं है कि जब वह गलत हो तब भी तुम उनका साथ दो, तुम्हें अनुज सर और मम्मी का साथ देना चाहिए था।

डिंपी कहती है तुम्हें पता भी है आज क्या हुआ है, अनुज सर ने पापा पर अटैक किया है सबने देखा, टीटू कहता है कि कॉलर पकड़ने और अटैक करने में बहुत फर्क होता है और इतने सालों से तुम अनुज सर को जानते हो तो इतना तो पता होगा कि बिना बात के वह किसी को हार्म नहीं करेंगे, पापा ने जरूर कुछ ऐसा कहा या किया होगा। डिंपी कहती है पापा ने ऐसा क्यों करेंगे? सबको पता है कि अनुज सर मेंटली स्टेबल नहीं है, अच्छा है कि पापा उनकी पुलिस में कंप्लेन करने वाले हैं। टीटू का कहना है कि उनकी लाइफ में पहले से ही इतनी परेशानियां हैं तुम सब उनकी परेशानियां और क्यों बढ़ा रहे हो? डिंपी का कहना है की हम सिर्फ अपनी और अपने बच्चों की सेफ्टी देख रहे हैं। टीटू कहता है अनुज सर कोई साइको नही है, तुम्हें पापा को रोकना और समझना चाहिए था उल्टा तुम उनका साथ दे रही हो, तुम अनुज सर और मम्मी के एहसानों के साथ-साथ इंसानियत भी भूल गई हो क्या? डिंपी का मानना है कि यह मम्मी और पापा के बीच का मामला है पापा ने फैसला ले लिया है और हमें इन सब के बीच में नहीं पड़ना है। टीटू का कहना है कि एक फैसला उसने भी किया है कि वह मुंबई जा रहें हैं, डिंपी उससे पूछती है क्यों? टीटू कहता है मुंबई में मेरा घर है वहां जा नही सकते।

डिंपी पूछती है अंश, टीटू कहता है वह भी हमारे साथ जाएगा, डिंपी कहती है कि कितने दिनों के लिए जाना है? टीटू का कहना है कि अब वह वहीं पर रहेंगे। डिंपी कहती है तुम्हारा दिमाग खराब हो गया है? तुमने पापा से वादा किया था कि तुम घरजमाई बनके रहोगे, टीटू कहता है घरजमाई बनने का वादा किया था, रोज बेइजत होने का नहीं। टीटू का मानना है कि पापा उन्हें डिंपी और अंश से दूर करने में लगे रहते हैं, डिंपी का कहना है कि पापा की कोई गलती नही है वह हमें खुश करने में लगे रहते हैं लेकिन तुम हमें खुशियां नही दे पा रहे हो इसलिए पापा से जलते हो, में और अंश मुंबई नही जा रहे हैं हमारा घर यह है हम यहीं रहेंगे, यह कहकर वह वहां से चली जाती है। उधर अनुपमा अनुज को खुश करने के लिए उसके आगे डांस करने लगती है, डांस करते-करते वह नीचे गिरने ही वाली होती है और अनुज उसे थाम लेता है, वह अनुपमा को अपने सामने बिठाता है और उसके पैरों से घुंघरू निकाल कर चोट पर फूंक मारता है, वह अपना सॉल मुंह से गर्म करके उसके पैरों पर लगता है। अनुपमा अनुज से कहती है सब ठीक हो जाएगा जो होना था वह हो गया, हम अपनी बेटी को ढूंढ लेंगे फिर सब ठीक हो जाएगा।

आगे अनुज अचानक अनुपमा के पैरों को छोड़ता है और वहां से चला जाता है। अनुपमा कान्हा जी को धन्यवाद करती है की उसकी पहली कोशिश बेकार नहीं गई, यह बिल्कुल सूरज की किरण की तरह है जो बर्फ को धीरे-धीरे पिघला देती है और एक दिन पूरा बर्फ का पर्वत पिघल जाता है, वह कान्हा जी से अनुज को ठीक करने और आध्या को मिलवाने के लिए प्रार्थना करती है। उधर सागर मीनाक्षी को लेने एयरपोर्ट पर इंतजार कर रहा है और उसी से थोड़ी दूरी पर वनराज का ड्राइवर भी मीनू का इंतजार कर रहा है। उधर बा किंजल को मीनू के कमरे में खुशबू वाली मोमबत्ती रखने को कहती हैं उसका मानना है कि मीनू देखेगी तो खुश हो जायेगी। डिंपी का कहना है कि नातिन के आने की खुशी में बा अपने घुटनों का दर्द भी भूल गई, बा कहती है कि अगर मैं अपने घुटने लेकर बैठूंगी तो मीनू की शादी पर गर्भा कैसे करूंगी? डिंपी कहती है कि आपने उसकी शादी का प्लान भी बना लिया, बा का कहना है कि वह मीनू के लिए अहमदाबाद में एक अच्छा सा सर्जन ढूंढकर शादी करवा देंगी। वनराज कहता है कि मीनू के आने से पहले आपने उसकी बिदाई की बातें शुरू कर दी, बा कहती है उसके आने की खुशी संभाले नहीं संभल रही है।

बच्चे बा से पूछते हैं मीनू फई हमारे साथ खेलेंगी? मीनू फई भी आध्या फई की तरह गायब हो जाएंगी, इसपर सब चुप हो जाते हैं। बा, बच्चों से कहती है मीनू फई बहुत दूर से आ रही है उन्हें आराम करने देना आते ही उन्हें खेलने के लिए परेशान मत करना। पाखी बा से कहती है कि मीनू इतने साल यूएस रही फिर पढ़ाई करने रसिया गई तो फिर उन्हें क्यों लगता है कि वह उनके पसंद के लड़के से शादी करेगी। बा का कहना है कि वह उसके लिए ऐसा लड़का ढूंढेंगी जिसके लिए वह माना नही कर पाएगी, तुम तीनों ने तो मुझे मेरी पसंद का दामाद या बहु ढूंढने का मौका नहीं दिया लेकिन मीनू ऐसा नहीं करेगी। उधर अनुपमा भी बाकी घरवालों को बताती है कि उनको डोनेशन देने के लिए मीनाक्षी ठक्कर आने वाली है वह हमारी बनाई हुई चीजें भी खरीदेंगी और मार्केटिंग में भी मदद करेंगी जिसके लिए हमें अपनी बनाई हुई चीजों को डिस्प्ले में रखना है, ताकि उन्हें हम फटाफट अपनी बनाई हुई सारी चीजों को दिखा सके, वह बाला काका से उन्हें सारे बिल दिखाने को कहती है, जिससे मीनाक्षी जी को यकीन हो जाए की हमें सच में पैसों की जरूरत है।

प्रीकेप: अनुपमा कहती है, मीनाक्षी जी आ गई, जाकर आरती की थाली ले आइए। वह देखती है कि, ऑटो से मीनाक्षी जी नही बल्कि मीनू निकलती है। मीनू, अनुपमा को देखकर चिल्लाती है, मामी, और अनुपमा भी कहती है, मीनू। मीनू वनराज के घर ना जाकर, अनुपमा को और बढ़ती है, जिसे देख वनराज, बा और बाकी घरवाले भी चकित हो जाते हैं। अनुपमा और मीनू दोनों एक दूसरे के गले लगते हैं, अनुपमा आरती की थाली लेकर मीनू की आरती उतारने लगती है, तभी वनराज अनुपमा की, आरती की थाली, को नीचे गिरा देता है। अनुपमा कहती है, दिमाग खराब हो गया है आपका, यह क्या बदतमीजी है। वनराज कहता है, मुंह बंद करो। इसी के साथ आज का प्रोमों भी खत्म हो जाता है।


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